9+ सतना में घूमने की जगह (Places to visit in Satna)

Places to visit in Satna, Tourist places in Satna, Best Places to Visit in Satna Madhya Pradesh (सतना में घूमने की जगह, सतना में सबसे अच्छी घूमने की जगह) 

जय हिन्द दोस्तों, क्या आप सतना में घूमने की जगह खोज रहे हैं, या फिर आप जानना चाहते हैं की सतना में कौन सी जगह हैं, जहाँ पर आप घूमने जा सकते हैं।

तो आज हम आपको सतना में घूमने के लिए कुछ अच्छी जगह (Places to visit in Satna) के बारे में बताने वाले हैं।

आपको यहाँ पर हम सतना के बारे में बहुत सारी बाते भी बताने वाले हैं, की सतना में कहा घूमे, सतना के आस-पास घूमने की जगह (Places to visit in Satna) कौन सी हैं। इन सब के बारे में यहाँ पर पता चलेगा।

मध्य प्रदेश राज्य में स्थित, सतना शहर को शहर में मौजूद चूना पत्थर और डोलोमाइट के प्रचुर भंडार के कारण दुनिया के सबसे बड़े सीमेंट उत्पादक शहरों में से एक माना जाता है। जिस कारण से सतना को सीमेण्ट नगरी के नाम से भी जाना जाता है।

सतना में घूमने के लिए कुछ ऐतिहासिक स्थान भी हैं जैसे माधवगढ़ किला, गिद्धकूट और जगतदेव तालाब आदि। इसके अलावा, यह शहर विभिन्न धार्मिक स्थलों के आवास के लिए भी प्रसिद्ध है।

चित्रकोट धाम, शारदा देवी मंदिर, धवारी के साईं बाबा मंदिर, रावतपुरा आश्रम, वेंकटेश मंदिर, और भी बहुत कुछ। सतना जिले को मध्‍यप्रदेश की संगीत राजधानी के नाम से भी जाना जाता है।

अगर आप भी संगीत राजधानी सतना घूमने का प्लान बना रहे हैं, तो पहले यहां के खूबसूरत और लोकप्रिय जगहों (Places to visit in Satna) के बारे में देख सकते हैं।

मध्‍यप्रदेश की संगीत राजधानी होने के साथ ही ये जगह संस्कृति, ऐतिहासिक, स्मारकों और धार्मिक वजहों से भी खूब जानी जाती है।  तो आइये जाने है इंदौर में कुछ अच्छी जगहों के बारे में।

सतना में घूमने की जगह (Places to Visit in Satna)

ये हैं वो जगह सतना में जहाँ पर आप घूमने जा सकते हैं, और संगीत राजधानी सतना के नज़ारों के मजे ले सकते हैं।

Places to visit in Satna

1. शारदा देवी मंदिर (Sharadha Devi Temple)

सतना के मैहर में स्थित माँ शारदा देवी मंदिर एक अन्य लोकप्रिय धार्मिक स्थल है। मंदिर त्रिकुटा पहाड़ी के ऊपर स्थित है, और लगभग 1063 सीढ़ियाँ शीर्ष पर स्थित मंदिर तक जाती हैं। यह धार्मिक स्थल सतना में घूमने की जगह में से एक है।

जो तीर्थयात्री चढ़ाई करने में असमर्थ हैं उनके लिए एक रोपवे डिज़ाइन किया गया है। मैहर का भी अपना इतिहास और किंवदंती है।

ऐसा माना जाता है कि मृत देवी मां सती के शरीर को ले जाते समय भगवान शिव ने अपना हार यहीं गिरा दिया था, जिस कारण से इसका नाम मैहर पड़ा।

आल्हा और उदल की एक किंवदंती है जो शारदा देवी के भक्त थे, जो घने जंगल में मंदिर में आने वाले पहले व्यक्ति थे और देवी को शारदा माई के नाम से संबोधित करते थे। मंदिर से आल्हा और उदल का तालाब दिखाई देता है, जिससे नीचे के परिवेश का मनोरम दृश्य भी दिखाई देता है।

यहाँ की शानदार दृश्यों का आनंद लेने के लिए रोपवे की सवारी भी मदद करता है जिसमें आपको कुछ शुल्क देना होगा। मंदिर के पीछे एक अखाड़ा भी स्थित है।

भगवान शिव को समर्पित गोला मठ मंदिर, बदीमाई मंदिर, ओइला मंदिर, पन्निखोह झरना या पूर्वा झरना मैहर के कुछ अन्य आकर्षण हैं। पहाड़ियों और हरी-भरी वनस्पतियों के बीच कुछ शांतिपूर्ण समय बिताने के लिए आप आल्हा तालाब भी जा सकते हैं।

2. मैहर रोपवे (Maihar Ropeway)

मैहर भारत में मध्य प्रदेश के सतना जिले का एक छोटा सा शहर है जो मूल रूप से माँ शारदा मंदिर के लिए जाना जाता है। प्रतिष्ठित हिंदू मंदिर त्रिकुटा पहाड़ी के ऊपर स्थित है और हिंदुओं के लिए एक महत्वपूर्ण तीर्थ स्थल है।

इतना ही नहीं, मंदिर में बड़ी संख्या में पर्यटक भी आते हैं। क्योंकि मंदिर एक पहाड़ी की चोटी पर स्थित है, इसलिए कुछ भक्तों विशेषकर बुजुर्ग लोगों को ऊपर चढ़ने और मंदिर तक पहुँचने में बहुत कठनाइयों का सामना करना पड़ता है।

इसलिए तीर्थयात्रियों की सुविधा के लिए रोपवे (Ropeway) की शुरुआत की गई। 367 मीटर की ऊंचाई पर स्थित इस मंदिर तक 1063 सीढ़ियां चढ़कर भी पहुंचा जा सकता है।

हालाँकि, रोपवे से जाने का सबसे आदर्श और साहसिक रास्ता माना जाता है। एक केबल कार में एक यात्रा में अधिकतम 6 व्यक्ति बैठ सकते हैं। यह सुविधाजनक और रोमांचक होने के साथ नीचे की टाउनशिप के लुभावने दृश्य पेश करता है।

3. चित्रकूट धाम (Chitrakoot Dham)

चित्रकूट जहाँ कण कण में भगवान राम का वास होता है भारत सबसे प्राचीनतम तीर्थ स्थलों में से एक चित्रकूट सतना जिला में बसा हुआ है। यह धार्मिक स्थल सतना में घूमने की जगह में से एक है।

पौराणिक कथाओं में अनुसार भगवान राम को जब बनवास हुआ था तो अयोध्या से चलकर त्रेता युग में भगवान राम, सीता और लक्षमण समेत सतना के चित्रकूट के जंगलो में 11 वर्षों तक अपने वनवास के समय काटे थे।

मंदाकनी नदी के किनारे स्थित चित्रकूट जहाँ भारत के कोने -कोने से श्रद्धालु श्रद्धा भाव से यहाँ दर्शन के लिए आते है। चित्रकूट में घूमने के लिए कई ऐसे जगह है जहाँ पर आप यहाँ के दार्शनिक और प्राकृतिक स्थानों को देख सकते है।

जब सतना घूमने निकले तो समय निकाल कर आये ताकि यहाँ के प्राकृतिक नैसर्गिक वातावरण का बखूबी ढंग से लुप्त उठा पाए।

चित्रकूट के दर्शनीय स्थल गुप्त गोदावरी, राम घाट, राम भरत मिलन मंदिर, लक्षमण मंदिर, हनुमान धारा, स्टफिक सिला (सीता माँ के पैरो निशान), सीता रसोई, अत्रि आश्रम, सती अनुसुइया आश्रम हैं।

चित्रकूट में ठहरने के लिए कई धर्मशालाए है जहा आप निःशुल्क रुक सकते हैं इसके अलावा यहाँ पर कई होटल मौजूद है जहा काफी कम बजट में यहाँ की यात्रा सम्पूर्ण कर सकते है।

4. वेंकटेश मंदिर (Venkatesh Temple)

सतना के मुख्त्यारगंज के पास स्थित, वेंकटेश मंदिर 1876 में बनाया गया था। दक्षिण भारतीय मंदिरों के डिजाइन के आधार पर विकसित इस मंदिर के बारे में कहा जाता है कि इसे बनाने में लगभग 49 साल लगे थे, जहां कारीगर दक्षिण भारत से आए थे।

लाल पत्थर से निर्मित और तालाब के पानी की लहरों में प्रतिबिंबित यह अद्भुत शांति का एहसास कराता है। यह मंदिर सतना में घूमने की जगह में से एक है।

यहां होने वाले धार्मिक आयोजनों में गुरु पूर्णिमा, झूलन महोत्सव, नरसिम्हा चतुर्दशी, जन्माष्टमी, राम नवमी, शरद पूर्णिमा और बहुत कुछ शामिल हैं। रणदमन सिंह द्वारा स्थापित यह मंदिर विंध्य क्षेत्र के सबसे पुराने मंदिरों में से एक है।

5. भरहुत स्तूप (Bharhut Stupa)

सतना जिले के भरहुत गांव में प्रसिद्ध भरहुत स्तूप के अवशेष स्थित हैं। बौद्धों द्वारा पूजनीय भरहुत स्तूप का निर्माण अशोक महान ने करवाया था।

यह स्तूप सतना में घूमने की जगह में से एक है। स्तूप बौद्ध इतिहास और मान्यताओं की कुछ प्रारंभिक कला और मूर्तियों का प्रतिनिधित्व करता है।

बुद्ध को सामान्य प्रतीकों जैसे बोधि वृक्ष, पैरों के निशान, खाली सीट, धर्म चक्र, आदि के माध्यम से दर्शाया जाता है। हालाँकि अशोक ने स्तूप का निर्माण करवाया था, लेकिन प्रवेश द्वार और रेलिंग जैसे कई कार्य शुंग राजवंश द्वारा जोड़े गए थे।

6. रामवन (Ramvan)

रीवा रोड पर स्थित, रामवन मंदिरों के प्राचीन अवशेषों का निवास स्थान है। प्रमुख मंदिरों में से एक है हनुमान मंदिर। रामवन युवा और वृद्ध दोनों के लिए है। हरी-भरी हरियाली बच्चों को आकर्षित करती है, और आध्यात्मिक तत्व तुरंत सहज महसूस कराता है। रामवन सतना में घूमने की जगह में से एक है।

वातावरण शांत है, और अच्छी तरह से बनाए रखा उद्यान और परिसर इसे सतना के सबसे अधिक देखे जाने वाले स्थलों में से एक बनाते हैं।

रामवन स्थित तुलसी संग्रहालय में प्राचीन मंदिरों की मूर्तियां संरक्षित हैं। वे पिछली पीढ़ियों की कलात्मकता और भक्ति को शिखर प्रदान करते हैं।

7. जगतदेव तालाब (Jagatdev Talab)

जगतदेव तालाब या जगतदेव झील सतना में एक मानव निर्मित जलाशय है। प्रसिद्ध शिव मंदिर झील के किनारे स्थित है और अक्सर भक्तों द्वारा दौरा किया जाता है। जगतदेव तालाब सतना में घूमने की जगह में से एक है।

सतना में कुछ अन्य पूजा स्थल हैं पशुपति नाथ मंदिर, श्री रघुवीर मंदिर, डाली बाबा, 450 साल पुराना सत्यनारायण मंदिर, राम जानकी मंदिर, बम्हौरी में जैतवार के पास हनुमान जी मंदिर, धवारी के साईं बाबा मंदिर और कई अन्य धार्मिक स्थल हैं।

8. पन्नीलाल चौक (Pannilal Chowk)

शहर के सबसे व्यस्त इलाकों में से एक पन्नीलाल चौक सतना का दिल है। निरंतर भीड़, शॉपिंग आउटलेट और स्वादिष्ट स्ट्रीट फूड से गुलजार, पन्नीलाल चौक किसी भी हलचल वाले शहर का केंद्र बिंदु जैसा दिखता है।

सभी प्रकार के सामान और उत्पाद बेचने वाली दुकानों से सुसज्जित, यह उन पर्यटकों और स्थानीय लोगों के लिए एक खुशी की बात है जो स्मृति चिन्ह, कपड़े या कुछ भी खरीदना चाहते हैं।

स्वादिष्ट पोहा और जलेबियों को न भूलें जो भोजन प्रेमियों का पसंदीदा और सबसे आनंददायक हिस्सा हैं। स्ट्रीट फूड सुगंधित निमंत्रण फैलाता है, और लस्सी और चाट की दुकानों के मुंह में पानी लाने वाले नजारे इतने ज्यादा हैं कि उन्हें रोका नहीं जा सकता।

शहर के किसी भी केंद्रीय व्यापारिक जिले की तरह, पन्नीलाल चौक भी स्थानीय व्यंजनों से प्राप्त विभिन्न प्रकार के व्यंजन परोसने वाले विभिन्न रेस्तरां से भरा हुआ है। अगर आप सतना में घूमने की जगह खोज रहे हैं तो आपको यहाँ जरूर जाना चाहिए।

9. माधवगढ़ किला (Madhavgarh Fort)

सतना में विभिन्न धार्मिक स्थलों के अलावा, माधवगढ़ किला लगभग 400 साल पहले बनी एक ऐतिहासिक संरचना है। माधो सिंह जी ने किले का निर्माण कराया था।

इस किले को 1787 में मराठों की लड़ाई के लिए सबसे ज्यादा याद किया जाता है। यह तुंगा युद्धक्षेत्र के साथ-साथ एक राजस्थानी गांव के ऊपर स्थित है जो कई स्थानीय कारीगरों और हस्तशिल्पियों का घर है।

किले के अंदर प्रताप महल सुइट, वह कमरा है जहाँ महाराजा प्रताप सिंह रहा करते थे, साथ ही ड्योढ़ी फूला महल भी है। यह किला कभी रीवा राज्य का केंद्र था।

किले के आकार के साथ-साथ गुंबदों और अंदरूनी हिस्सों पर सुंदर कला इसे ऐतिहासिक और स्थापत्य दृष्टिकोण से देखने लायक बनाती है।

10. बीरसिंघपुर सतना (Birsinghpur Satna)

सतना से करीब 35 किलोमीटर की दूरी पर बसा यह स्थान यहाँ का एक प्रमुख धार्मिक स्थल है जो भगवान् शिव को समर्पित है। यदि आप धार्मिक स्थलों में विश्वास रखते है तो एक बार यहाँ पर विजिट कर सकते है।

यह धार्मिक स्थल सतना में घूमने की जगह में से एक है। महाशिवरात्रि के समय यहाँ दूर दूर से लोग आस्था पर विश्वास रखने बाले भक्त अपनी मनवांछित इच्छा पूर्ण की मनोकामनाएं लेकर भोलेनाथ के दर्शन के लिए आते हैं।

FAQ

Q: सतना क्यों प्रसिद्ध है?

Ans: सतना अपने ऐतिहासिक और धार्मिक स्थल के लिए जो सबसे ज्यादा प्रसिद्ध है: मैहर (माँ शारदा देवी मंदिर) और चित्रकूट धाम के लिए जहाँ साल भर पर्यटकों का आना जाना लगा रहता है।

Q: सतना में घूमने की जगह कौन सी है?

Ans: सतना में घूमने की जगह माँ शारदा देवी मंदिर मैहर, चित्रकूट, माधवगढ़ किला आदि है।

निष्कर्ष-

इस तरह से आपको पता चल गया होगा की सतना में घूमने की जगह कौन-कौन सी है (Places to visit in Satna) साथ ही आज आपको सतना में घूमने की जगह के बारे में और भी कई बाते पता चली होगी।

आज हमने आपको सतना में घूमने की जगह (Best Places to visit in Satna) इसके साथ-साथ और भी बहौत सारी बाते बताई है।

अगर आपको ये पोस्ट पसंद आयी हो, और कुछ अच्छा सीखने को मिला हो, तो इसे अपने दोस्तों के साथ भी जरूर शेयर करें। जय हिन्द!

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